
- सर्विस के दौरान ताकतवर कोल माफिया के काले कारनामों को सामने लाने का श्रेय रखते हैं
- पंजाब यूनिवर्सिटी से अर्थशास्त्र में मास्टर डिग्री प्राप्त है बूटा सिंह
चंडीगढ़. केंद्र शासित प्रदेश चंडीगढ़ संसदीय सीट से चुनाव में भाग्य आजमाने के लिए कई प्रत्याशी चुनाव मैदान में है। इन्हीं प्रत्याशियों में से एक प्रत्याशी भी लोगों के बीच वोट मांगने के लिए पहुंच रहे है। वो है ‘ट्रैफिक मैन’ बूटा सिंह। सेवानिवृत्त अधिकारी, भारतीय रेलवे यातायात में अपनी सर्विस के दौरान ताकतवर कोल माफिया के काले कारनामों को सामने लाने का काम कर चुके है।
बूटा सिंह का कहना है कि सिटी ब्यूटीफुल के शानदार चरित्र और खूबसूरती को कांग्रेस और भाजपा दोनों की अदूरदर्शी नीतियों के कारण खत्म कर दिया गया है। चंडीगढ़ के निवासियों के सामने आने वाली समस्याओं के बारे में कोई तकनीकी ज्ञान नहीं होने के कारण अक्षम लोगों ने ही अब तक यहां शासन किया गया है।
पंजाब यूनिवर्सिटी से अर्थशास्त्र में मास्टर डिग्री प्राप्त बूटा सिंह का कहना है कि ‘‘मेरा एकमात्र उद्देश्य सार्वजनिक सेवा है और रेलवे के ट्रैफिक प्रबंधन को संभालने में अपने अनुभव के साथ मैं सड़क पर चलने वाले लोगों को पेश आने वाली समस्याओं के समाधानों के अलावा सड़क पर बढ़ती भीड़भाड़ को व्यवस्थित करने की दिशा में सकारात्मक योगदान दे सकता हूं।
बूटा सिंह 2008 में टेरिटोरियल रेलवे आर्मी में सेवारत मुख्य वाणिज्यिक प्रबंधक रेलवे के पद से सेवानिवृत्त हुए थे, ने कोयला माफिया को पकड़ने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई थी और उन राष्ट्र विरोधी तत्वों के खिलाफ सख्त कदम उठाने के लिए राष्ट्रीय स्तर पर सुर्खियों में आए थे।
चंडीगढ़ में कई अन्य समस्याओं के बारे में बोलते हुए उन्होंने कहा कि शहर में यातायात की बढ़ती भीड़, बढ़ते प्रदूषण, कचरा प्रोसेसिंग और प्रवासी श्रमिकों से संबंधित मुद्दों के प्रभावी समाधान के लिए सही योजना और सही सोच की जरूरत है। डड्डूमाजरा डम्पिंग ग्राउंड के बारे में विशेष रूप से बोलते हुए, उन्होंने कहा, डड्डूमाजरा डम्पिंग ग्राउंड एक गंभीर स्वास्थ्य खतरा पैदा करता है और इसे तत्काल शहर की सीमा से बाहर बदला जाना जाना चाहिए।