मुंबई.अनिल कपूर बॉलीवुड और टीवी के एवरग्रीन एक्टर हैं और उन्हें अब तक हर तरह के रोल में देखा जा चुका है। वैसे तो अनिल की पहचान हमेशा से उनकी मूंछें रही हैं। लेकिन एक वक्त यह भी आया था कि उन्होंने एक रोल की खातिर इन्हें कटवा दिया था। बात उस वक्त की है, जब यश चोपड़ा फिल्म 'लम्हे' की कास्टिंग कर रहे थे। मूवी चैनल सेटमैक्स 2 के फिलर शो 'लाइट कैमरा किस्से' में शेखर सुमन ने इस विवादित फिल्म से जुड़ा रोचक किस्सा शेयर किया था।अमिताभ बच्चन थे यश चोपड़ा की पहली पसंद…
– शेखर सुमन के शो के मुताबिक, डायरेक्टर यश चोपड़ा की फिल्म 'लम्हे' 1991 में रिलीज हुई थी। लेकिन इसका ख्याल यश को तब आया था, जब वे 'सिलसिला' (1981) कर रहे थे। फिल्म के लिए यश की पहली पसंद अमिताभ बच्चन और रेखा थे। लेकिन बाद में उन्हें महसूस हुआ कि कहानी के लिहाज से अमिताभ उम्र में बड़े दिखाई देंगे। इसलिए उन्होंने अमिताभ का ख्याल मन से निकाल दिया और नए चेहरे की तलाश करने लगे।
अनिल कपूर का लिफाफा देख चौंक गए थे यश चोपड़ा
– एक दिन फिल्म की राइटर हनी ईरानी ने यश को फोटोज से भरा एक लिफाफा दिया, जिसपर लिखा हुआ था, 'एक न्यूकमर, जो आपकी फिल्म करना चाहता है।' फोटोज देखने के बाद यश चौंक गए, क्योंकि वे अनिल कपूर की थीं। उस वक्त अनिल बहुत बड़े स्टार हुआ करते थे।
यश को कभी नहीं आया था अनिल का ख्याल
– किरदार में बड़े लगने की वजह से यश को कभी अनिल का ख्याल ही नहीं आया। हालांकि, फोटोज देखने के बाद यश चोपड़ा ने अनिल कपूर को मिलने के लिए बुलाया। अनिल ने यश को कहा कि वे हर कीमत पर उनकी फिल्म करना चाहते हैं। यश ने बहुत समझाने की कोशिश की कि वे फिल्म में कैरेक्टर के हिसाब से बड़े दिखाई देंगे। लेकिन अनिल मानने के लिए तैयार नहीं थे। अनिल बार-बार यही कह रहे थे कि वे इस रोल के लिए कुछ भी करने को तैयार हैं। तब यश पूछ बैठे कि क्या वे अपनी मूंछें हटवा सकते हैं? काफी विचार के बाद अनिल मूंछें हटवाने के लिए तैयार हो गए। यश ने उन्हें दूसरे दिन फोटोशूट के लिए बुला लिया और बिना मूंछों के अनिल और एक्ट्रेस श्रीदेवी की जोड़ी यश चोपड़ा को पसंद आ गई।
दो शेड्यूल में शूट हुई थी फिल्म
नवंबर 1991 में रिलीज हुई 'लम्हे' दो शेड्यूल में शूट हुई थी। पहला शेड्यूल राजस्थान में और दूसरा शेड्यूल लंदन में हुआ था। श्रीदेवी ने फिल्म में डबल रोल (मां पल्लवी और बेटी पूजा) का रोल किया था। कहानी के मुताबिक, वीरेन प्रताप सिंह (अनिल कपूर) पल्लवी से प्यार करते हैं। लेकिन किसी कारण पल्लवी की शादी सिद्धार्थ (दीपक मल्होत्रा) से हो जाती है। हालांकि, जब पल्लवी प्रेग्नेंट होती है, तभी उनकी और सिद्धार्थ की मौत एक्सीडेंट में हो जाती है। लेकिन उनकी बेटी पूजा को बचा लिया जाता है, जिसे वीरेन की मां दाई जा (वहीदा रहमान) पालती हैं। कहानी में ट्विस्ट तब आता है, जब पूजा भी वीरेन से प्यार करनी लगती है।
लम्हे के दौरान श्रीदेवी ने पिता को खोया
जब श्रीदेवी फिल्म की शूटिंग लंदन में कर रही थीं, तब उनके पिता अयप्पन यंगर की डेथ हो गई। श्रीदेवी शूटिंग छोड़ वापस इंडिया लौट आईं। 16 दिन तक वे यहां रहीं और वापस जाकर एक कॉमेडी सीन की शूटिंग की। उस वक्त श्रीदेवी ने अपनी लाइफ में घटी ट्रेजिडी को भूलकर शानदार सीन दिया था।
फिल्म को मिले थे कई फिल्मफेयर अवॉर्ड्स
फिल्म को बेस्ट मूवी और श्रीदेवी को बेस्ट एक्ट्रेस का फिल्मफेयर अवॉर्ड मिला था। इसके अलावा, अनुपम खेर को बेस्ट कॉमेडियन, हनी ईरानी को बेस्ट स्टोरी और राही मासूम रजा को बेस्ट डायलॉग्स का फिल्मफेयर अवॉर्ड भी मिला था। नीता लुल्ला ने इस फिल्म के लिए बेस्ट कॉस्टयूम डिजाइन का नेशनल अवॉर्ड जीता था। अनिल कपूर फिल्मफेयर के बेस्ट एक्टर अवॉर्ड से चूक गए थे। क्योंकि उसी साल अमिताभ की 'हम' रिलीज हुई थी और उन्हें बेस्ट एक्टर चुना गया था।
'लम्हे' के पहले कई सुपरहिट फिल्में दे चुके थे अनिल
अनिल कपूर ने 'लम्हे' से पहले करीब 50 फिल्मों में काम किया था। इनमें 'वो सात दिन' (1983), 'चमेली की शादी' (1986), 'तेजाब' (1988), 'किशन कन्हैया' (1990) और 'जमाई राजा' (1990) जैसी कई हिट फिल्में शामिल हैं। खास बात यह है कि इन सभी फिल्मों में अनिल को मूंछों के साथ ही देखा गया था।
Download Dainik Bhaskar App to read Latest Hindi News Today