एकता कपूर और उनका बेबाक अंदाज कुछ ऐसा है कि आप भले ही उनसे प्यार करें या नफरत, आप उन्हें इग्नोर नहीं कर सकते. करीब एक दशक से भी अधिक समय से एकता बिना किसी कॉम्पटीशन के छोटे पर्दे की क्वीन बनी हुई हैं.
इतने बरसों से एकता कपूर ने अपने सीरियल्स में क्या दिखाया है क्या नहीं, ये एक लंबी बहस का हिस्सा है. लेकिन इस बात से कोई इनकार नहीं कर सकता है कि एक ही तरह के कंटेंट के बावजूद एकता सालों से टीवी की दुनिया पर एकछत्र राज कर रही हैं.
टीवी पर लगभग हर चैनल पर टीवी शोज की भीड़ लगाने के बाद अब एकता थक गई हैं. एकता थक गई हैं एक जैसे कंटेंट बनाकर और उनसे पैसे कमाकर. इसीलिए वो अब अपने दिल की सुनना चाहती हैं. उनका दिल अब उन्हें अच्छे कंटेंट वाले शोज बनाने को कह रहा है. ऐसा एकता ने खुद की कहा है.
शायद इसलिए अपने ऐप एएलटी बालाजी पर एकता अपने शोज की ‘संस्कारी’ कहानियों से अलग बोल्ड और मैच्योर कहानियां लेकर आई हैं.
अब एएलटी बालाजी पर जल्द ही नेताजी सुभाष चंद्र बोस के इर्द-गिर्द घूमती मिस्ट्री पर आधारित वेब सीरीज ‘बोस डेड/अलाइव’ शुरू होने वाली है. इसी के पप्रमोशन के लिए एकता इस वेब सिरीज की कास्ट के साथ दिल्ली में थीं. इस शो में नेता जी का किरदार राजकुमार राव निभा रहे हैं.
इस शो के बारे में एकता का नजरिया बिलकुल क्लियर है. उनका कहना है कि ये शो सुभाष चंद्र बोस की उन सभी पुरानी फिल्मों की तरह नहीं है जिसमें फिल्मकारों ने सेफ तरीके से उसे पेश किया है. यह शो बहुत से लोगों को आहत करेगा. लेकिन इस कंट्रोवर्शियल टॉपिक और कहानी पर फिल्म बनाना बहुत जरूरी था.
जब एकता से पूछा गया कि आज के दौर में देशभक्ति की क्या परिभाषा क्या है? एकता ने कहा आज के दौर में हम सभी सिर्फ ट्विटर पर ही देशभक्त हैं. आज की युवा पीढ़ी को देशभक्ति पर एकता ने 10 में से 3 नंबर दिए.
एकता टीवी की दुनिया में एक क्रांति लेकर आई थीं. सास-बहु का ड्रामा हो, मौत के मुंह से वापस लौटे किरदार हों या दादी-नानी की उम्र के किरदारों की बीसवीं शादी हो, एकता ने डंके की चोट पर ऐसे शो बनाए. साथ ही उन्होंने इस शोज से खूब पैसे भी कमाए. अब शायद उम्मीद की जा सकती है कि टीवी से इतर वेबसिरीज के माध्यम से वो टीवी पर बनी अपनी छवि बदलने में कामयाब होंगी.