चंडीगढ़। ढाई साल पुराने अंतरराष्ट्रीय हेरोइन तस्करी मामले में आम आदमी पार्टी के विधायक एवं विधानसभा में नेता विपक्ष सुखपाल खैहरा को फाजिल्का जिला अतिरिक्त सत्र न्यायालय द्वारा समन करने व गैर जमानती वारंट जारी को खैहरा ने हाई कोर्ट में चुनौती दी है। हाई कोर्ट ने गैर जमानती वारंट पर रोक लगाते हुए पंजाब सरकार से जवाब तलब किया है। मामले पर फाइनल सुनवाई 9 नवंबर को होगी।
वहीं, गैर जमानती वारंट को रिकॉल करने के लिए खैहरा ने फाजिल्का कोर्ट में भी अर्जी लगाई है। इस पर भी आज ही सुनवाई होनी है। हाईकोर्ट में दायर याचिका में खैहरा ने कहा कि जिला अदालत को उनके खिलाफ मामला चलाने की इजाजत देना व समन करना गैर कानूनी है। यह राजनीति से प्रेरित मामला है। जब ट्रायल पूरा हो चुका है व मुख्य आरोपी को सजा हो चुकी है तो कैसे सह आरोपी के खिलाफ मामला चलाया जा सकता है।
उन्होंने हाईकोर्ट से आग्रह किया है कि वो जिला अदालत के फैसले पर रोक लगाए। वहीं, फाजिल्का कोर्ट में लगाई अर्जी में भी खैहरा ने इसे राजनीतिक साजिश बताया। इसमें उन्होंने कहा है पांच मार्च 2015 को दर्ज किए गए मामले में आरोपियों में उनका नाम नहीं था। हाई कोर्ट से फिलहाल खैहरा को राहत मिल गई है।
यह है मामला
मार्च 2015 में सुखपाल सिंह खैहरा के करीबी एवं भुलत्थ मार्केट कमेटी के चेयरमैन गुरदेव सिंह सहित 10 अन्य लोगों को फाजिल्का पुलिस ने पाकिस्तान से हेरोइन व सोना तस्करी के आरोप में गिरफ्तार किया था। पुलिस ने तस्करों से दो किलोग्राम हेरोइन, 24 सोने के बिस्किट, एक पाक मोबाइल सिम व एक सफारी गाड़ी बरामद की थी। सरगना गुरदेव सिंह फाजिल्का के रास्ते पाकिस्तान से हेरोइन मंगवाता था। अपने गिरोह के जरिये हेरोइन इंग्लैंड में मेजर सिंह को भेजी जाती थी। मेजर सिंह के पाकिस्तान में तस्कर इम्तियाज अली से संबंध थे। उस समय खैहरा का नाम भी सामने आया था। हालांकि, पुलिस ने खैहरा के खिलाफ केस दर्ज नहीं किया था।